लेडी हर्डिग अस्पताल में अपने पापा, मम्मी और बाबा के मृत शरीर देख डाक्टर बेटी हुई बेसुध।


नयी दिल्ली, करोलबाग के न्यू रोहतक रोड पर रविवार तड़के अजमेर जाते समय भीषण टक्कर हो गयी, जिसमें जैन समुदाय के तीन लोगों की मृत्यु हो गयी। 58 वर्षीय राकेश जैन, उनकी 55 वर्षीट पत्नी विजया और 80 वर्षीय उनके पिता हुकुमचंद जैन की मृत्यु हो गई और राकेश जैन के दो भाई मुकेश जैन, वीरेंद्र जैन एवं उनका बेटा प्रयाग घायल हो गये। राकेश जैन अपनी डाक्टर बेटी की शादी की बात तय कर उसके विवाह की तारीख तय करने उसकी ससुराल अजमेर जा रहे थे। इन्हें शताब्दी ट्रेन से अजमेर जाना था। अत: स्विफ्ट डिजायर कार से वे नई दिल्ली स्टेशन के लिए प्रात: घर से निकले थे। इसे विडंवना ही कहेंगे कि जिस बेटी के लिए उसके परिवारीजन उसके विवाह की तारीख तय करने घर से निकले थे, उसी बेटी के सामने उनके बाबा, पिताजी एवं माता जी का मृत शरीर उसकी आंखों के सामने लेडी हर्डिग अस्पताल में आया। डाक्टर बेटी ने जैसे ही मृतकों का चेहरा देखा तो उसके मुंह से चीख निकल गयी और वह बेसुध हो गयी। इसके बाद लोगों ने समझावुझा कर उसे शांत किया और फिर डाक्टर बेटी अपने परिवारीजन के मृत शरीर के बाद होने वाली आपचारिकतायें पूर्ण करवायी। घायलों में राकेश जैन के दोनों भाइ्यों को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी गयी एवं उनका बेटा प्रयास सर गंगाराम अस्पताल में गंभीर अवस्था में भर्ती है। लाला हुकुमचंद जैन मूल रूप से हरियाणा, सोनीपत जिले के गन्नौर के निवासी थे किंतु उनका परिवार कई वर्ष पूर्व प्रशांत विहार स्थित बी ब्लाक में रह रहा था। प्रमुख समाज सेवी हुकुमचंद जैन सहित उनके बेटों के निधन से उनके परिवारीजन बेसुध हैं एवं उनके मित्रगण एवं जैन समुदाय के लोग इस घटना से काफी दुखी हैं। राजेश जैन सिंडीकेट बैंक में बैंक मैनेजर कार्यरत थे। अभी कुछ ही वर्ष पूर्व उनका स्थानान्तरण दिल्ली में हुआ था।


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